सामाजिक समस्याएं एवं चुनौतियाँ । सामाजिक चेतना । आतंकवाद और अलगाववाद , देश की सीमाएं एवं आंतरिक सुरक्षा (Social problems and challenges. social consciousness. Terrorism and separatism, country borders and internal security ) #gkpadhoindiaa
1. संप्रदायवाद क्या है ?
=> संकीर्ण सामाजिक दृष्टीकोण तथा अपने संप्रदाय को उत्तम और श्रेस्ठ व अन्य संप्रदाय को निचा समझने की भावना को हि संप्रदायवाद के नाम से जाना जाता है .
2. अल्प संख्यक क्या है ?
=> अल्प संख्यक वे वर्ग या श्रेणी के लोग है जिनकी जनसंख्या बहुत हि कम है . ऐसे लोगो को भारतीय संविधान के 25 से 28 अनुच्छेद के अंतर्गत शामिल किया गया है .
3. भ्रष्टाचार क्या होता है ?
=> भरष्टाचार से आशय है - "किसी भी व्यक्ति के द्वारा जनबुचकर नियम के विपरीत कार्य करके अपने रिश्तेदारों , सगे - सम्बन्धियों , परिवार या मित्रों को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष या अन्य रूपों में लाभ देने की भावना या किये गये कार्य को कहा जाता है . आज भ्रस्ताचार समस्त रूपों में पाया जाता है किन्तु शासकीय मामलों में यह शब्द सुनने को अधिक मिलता है .
4. बाल - श्रमिक व बाल अपराध क्या होता है ?
=> बाल श्रमिकों के लिए संविधान की धारा अनुच्छेद 14 के अनुसार बाल श्रमिक वे लोग है जो 14 वर्ष की आयु से कम उम्र के होते है .
ऐसे 14 बाल श्रमिकों के द्वारा किसी संस्था या कारखाना के मालिकों द्वारा कार्य करवाया जा रहा होता है . वर्ष के कम उम्र के लोगो के को को कार्य करवाया जाना बाल श्रमिक अपराध के मामले के अंतर्गत आता है . जो की भारतीय संविधान में पुर्नतया वर्जित है . बाल अपराध के में आवारागर्दी , दुर्व्यवहार के इरादे से शैतानी करना और उद्दंडता होता है
5. जातिवाद का प्रमुख कारन क्या है ?
=> जाती वाद का प्रमुख कारण है - (1) जातिगत हिस्सों की रक्षा करना
(2) विवाह प्रथा .
6. नागरिको के कोई दो मौलिक अधिकार बताइए .
=> समानता का अधिकार और स्वतंत्रता का अधिकार नागरिको के दो मौलिक अधिकार हि है .
7. पिछड़ा वर्ग की उन्न्नती के लिए सरकार के द्वारा क्या प्रयास किया गया है ?
=>भारतीय सरकार द्वारा सन 1976 में अनुसूचित जाती और अनुसूचित जनजाति के अत्याचारों की रोकथाम के लिए कानून बनाया गया है . साथ है सरकारी सेवाओं तथा संसद में स्थान आरक्षित किया गया है .
8. भारत में महिलाओं की जनसँख्या कितना प्रतिसत है ?
=> 50 प्रतिशत
9. भारतीय महिलाओं की स्थिति सुधार हेतु अनुच्छेद 15 का क्या योगदान है ?
=> बिना किसी भेदभाव के स्त्रियों को नौकरी और तरक्की देने का प्रावधान भारतीय संविधान में अनुच्छेद 15 अंतर्गत कानून बनाया गया है .
10. सामाजिक विकाश से क्या तात्पर्य है ?
=> सामाजिक विकाश से तात्पर्य है -समाज की गतिशित्लता और परिवर्तन उन्नति और विकाश का पर्यायवाची है . अतः समाज को गतिशील और परिवर्तनीय बनाकर सामाजिक विकाश किया जाना संभव है .
11. सामाजिक विकाश के बाधक तत्त्व क्या है ?
=> सामाजिक विकाश के बाधक तत्त्व है - स्वास्थ्य और लिंग .
क्योंकि यदि समाज के नागरिक अस्वस्थ्य होगे तो वे अपने अधिकार और कर्तव्यों का उचित पालन नहीं कर पाएँगे जिससे सामाजिक विकाश रुक जाएगा .
12 . वैदिक काल में स्त्रियों की दशा कैसे थी ?
=> वैदिक काल में स्त्रियों की दशा बहुत अच्छा और बढ़िया था . महिलाएं वैदिक काल में विभिन्न सम्मानजनक पदों में आसीन हुआ करती थी . उस समय याह मान्यता थी की जहाँ नारियों का सम्मान होता है वहां देवताओं का निवाश होता है . इस कारन महिलाओं का आदर होता था . इस काल की गार्गी और मैत्रीय विदुषी महिलाएं हुआ करती थी . इस काल में सामाजिक , धार्मिक और राजनैतिक कार्य बिना पत्नी के नहीं होता था. इस काल में पुरुषों के तुल्य महिलाओं को अधिकार प्राप्त था .
13 . लिंग की असमानता (या लिंग भेदभाव )सामाजिक विकास में कैसे बाधक है ?
=> लिंग भेदभाव सामाजिक विकाश में बाधक होता है क्यों की स्त्री या पुरुषों में असमानता के व्यवहार से सामाजिक विकाश अवरुद्ध हो जाता है . मध्य काल में स्त्रियों पर पुरुषों की प्रभाव बढ़ जाने के कारण धार्मिक रूढी वादी विचारधाराओं के चलते महिलाओं से समानता का अधिकार छीन लिया गया . जिससे सामाजिक विकाश अवरुद्ध हो गया .
भारत की जनसँख्या का 50 प्रतिशत भाग महिलाओं के होने के बावजूद उचित कानून के आभाव में स्त्रियों की दशा में सुधार नही हुआ है . भारतीय संविधान के अनुच्छेद 15 के अनुसार जाती , धर्म , लिंग के भेदभाव की मनाही है मगरफिर भी भेदभाव किया जाता है जो की सामाजिक विकाश में बाधक है .
14. महिलाओं या स्त्रियों की स्थिति में सुधार के लिए कोई 5 उपाय कौन कौन से है ?
=> भारतीय समाज में महिलाओं या स्त्रियों की स्थिति आज ख़राब है जिनकी स्थिति सुधारना एक चुनौती भरा कार्य है . इसमें सुधार के निम्नलिखित उपाय है -
i) भारतीय संविधान के अनुच्छेद 15 के अनुशार - स्त्रियों या महिलाओं को बिना किसी भेदभाव के नौकरी और तरक्की दिया जाना चाहिए . जिससे महिलाओं की दशा सुधर सके .
ii) अनुच्छेद 14 का पूर्ण रूप से पालन किया जाना चाहिए .
iii) महाविद्यालयों में स्त्रियों को निःशुल्क शिक्षित किया जाना चाहिए .
iv) संसद और विधानमंडलों में 33 प्रतिशत आरक्षण महिलाओं या स्त्रियों हेतु आरक्षित किया जाना चाहिए .
v) स्त्रियों से असम्मान जनक व्यव्हार करने वालों , बालिका भ्रूण हत्या करने वालों को कड़ी से कड़ी दंड दिया जाना चाहिए ताकि इन्हें रोका जा सके .
vi) प्रतिभावान स्त्रियों को सामाजिक और आर्थिक क्षेत्र में रास्ट्रीय और अंतराष्ट्रीय स्तरों बिना किसी भेदभाव के आगे बढाया जाना चाहिए .
vii) स्त्री या महिला कल्याण बोर्डों की स्तापना किया जाना चाहिए तथा महिला व बाल विकाश विभाग को सक्रिय किया जाना चाहिए .
viii) विज्ञापनों में स्त्रियों के अशोभनीय प्रदर्शन पर रोक लगाया जाना चाहिए .
ix) माता पिता को भी अपनेचाहिए की वे अपने पुत्र और पुत्रियों में कोई भेदभाव न करें .
x) सन 1976 में दी गई महिला राष्ट्रीय आयोग की अनुशंसा को साकार करें .
सभी सामाजिक कुरूतियों और रूढीवादी विचार धाराओं को दूर करके सामजिक विकाश में गति ला सकते है .
15. बाल श्रम के तिन कारन क्या है ?
=> बाल श्रम के 3 कारन निम्न लिखित है -
(i) गरीबी : - जो लोग गरीब परिवार के होते है उनके बच्चों को आजीविका हेतु कार्य करना पडता है .
(ii ) गलत संगती :- जो बच्चे गलत संगती में पड जाते है या लिप्त हो जाते है और अपने घर से भाग जाते है उन्हें आजीविका हेतु कार्य करने पड़ जाते है जिससे बाल श्रम होता है .
(iii) सामाजिक कारण : सामाजिक कारण भी बाल श्रम के लिए उत्तरदायी होता है .
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